राजस्थान का वीडियो ‘हिंदुओं के बहिष्कार की शपथ लेते मुसलमानों’ के गलत दावे से वायरल

लेखक: रजिनी के जी
अगस्त 9 2023

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राजस्थान का वीडियो ‘हिंदुओं के बहिष्कार की शपथ लेते मुसलमानों’ के गलत दावे से वायरल

फैक्ट चैक

निर्णय असत्य

राजस्थान पुलिस ने स्पष्ट किया है कि वीडियो राजस्थान के बाड़मेर का है, कर्नाटक का नहीं. मामले को लेकर दर्ज FIR भी इस बात की पुष्टि करती है.

क्लेम आईडी 468546ad

संदर्भ

सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक वीडियो में दावा किया जा रहा है कि कर्नाटक में मुसलमानों ने ‘हिन्दुओं के कारोबार का बहिष्कार करने की शपथ’ ली है. दावा है कि वीडियो में दिख रहा शख्स बाकी लोगों से अपील करता है कि हिन्दुओं की दुकान से पेट्रोल और दवाएं न खरीदें और न ही उनकी बाइक या टैक्सी से यात्रा करें. यह शख्स आगे लोगों से आग्रह करता है कि हिन्दुओं के हाथों चल रहे कारोबार में शामिल ना हों, तभी जन्नत या स्वर्ग मिलेगा. वीडियो में लोग खुशी जाहिर करते भी दिख रहे हैं. 

1 जुलाई 2023 को इसी वीडियो का एक इंस्टाग्राम रील ‘thesarcasmicpage’ नाम के अकाउंट से शेयर किया गया. इसमें दावा किया गया कि मुसलमानों ने कर्नाटक के बेंगलुरू में हिन्दुओं के बहिष्कार का आह्वान किया है. वीडियो के साथ शेयर हो रहे कैप्शन में लिखा है “हिन्दुओं पर वज्रपात के लिए हमारे पास 5 साल के लिए कांग्रेस की सरकार है.” इस रील को 10 लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका है.

29 जून 2023 को एक ट्विटर यूजर ने भी इस वीडियो को शेयर कर  लिखा, “बेंगलुरु में मुसलमानों की बैठक. हिन्दुओं से कोई भी सामान नहीं खरीदने का फैसला किया. हमारे पास 5 साल की सत्ता है, हिन्दुओं के पंप से पेट्रोल नहीं खरीदो, हिन्दू दुकानों से दवाएं मत खरीदो. हम नहीं चाहते कि हिन्दुओं को कारोबार का फायदा मिले. 20% जिहादी 80% हिन्दुओं को डरा रहे हैं.” इस वीडियो को 367.9 हजार से ज्यादा बार देखा गया और इसे 1951 लाइक्स मिले.

बहरहाल, दावा गलत है और इसे गलत संदर्भ के साथ शेयर किया गया.यह वीडियो पुराना है और राजस्थान का है. 

सच्चाई

रिवर्स इमेज सर्च से हमें पता चला कि यह वीडियो 15 मार्च 2023 को ‘हम लोग We The People’ नामक ट्विटर हैंडल से शेयर किया गया. इसे इस कैप्शन के साथ शेयर किया गया, “आज मौलाना ने राजस्थान के बाड़मेर में फतवा जारी किया है कि जाट, गुर्जर, चौधरी से कुछ भी ना खरीदें और उनकी गाड़ियों में भी ना बैठें....इस जमात के लोग देशभर की मस्जिदों में घूमते रहते हैं और मुसलमानों को इकट्ठा करते हैं और ऐसे फतवा जारी करते हैं.” 

राजस्थान पुलिस ने 16 मार्च को अपने ट्विटर अकाउंट पर पोस्ट किया कि यह वीडियो दुर्घटना में घायल व्यक्ति की मौत हो जाने के बाद दाह संस्कार के समय लिया गया था.

लॉजिकली फैक्ट्स को 29 जून 2019 को हुई दुर्घटना को लेकर दर्ज की गई FIR मिली, जो घटना की पुष्टि कर रही थी. 

दुर्घटना में मृतक के नाराज रिश्तेदारों के वीडियो को अब कर्नाटक में मुस्लिम समुदाय के लोगों द्वारा हिन्दुओं के व्यवसायों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की घटना का बताकर शेयर किया जा रहा है. 

यह वीडियो जून 2023 में सोशल मीडिया पर फिर से सामने आया और इसे इस दावे के साथ फैलाया गया कि यह कर्नाटक के बेंगलुरु का है. बेंगलुरु पुलिस के आधिकारिक ट्विटर अकाउंट ने 1 जुलाई को इस दावे को खारिज करते हुए कहा कि यह पुराना वीडियो है और कर्नाटक से संबंधित नहीं है.

फैसला

राजस्थान का 2019 का वीडियो दोबारा एक झूठी कहानी के साथ सामने आया है. इसे गलत संदर्भ के साथ शेयर किया जा रहा है. वीडियो कर्नाटक से संबंधित नहीं है.

 

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